Moosewala Murder: पंजाबी सिंगर (Punjabi Singer) सिद्धू मूसेवाला का नाम एक बार फिर सुर्खियों में छा गया है। दरअसल एक तरफ पंजाब पुलिस (Punjab Police) ने इकलौते फरार शूटर (Shooter) दीपक मुंडी और उसके दो साथियों को गिरफ्तार (Arrest) करके बड़ी कामयाबी अपने नाम दर्ज की। तो वहीं केंद्रीय जांच एजेंसी NIA ने गैंग्स्टर्स (Gangsters) को रडार (Radar) पर लेकर बड़ी कार्रवाई कर डाली है।
मगर इसी बीच सिद्धू मूसेवाला के पिता का एक बयान भी सामने आ गया जिसने ये नाम एक बार फिर खबरों की सुर्खियों में ला दिया। असल में सिद्धू मूसेवाला के पिता ने खून का बदला खून वाली तर्ज का बयान देकर एक तरह से अपने जज्बात जाहिर किए हैं। अपनी औलाद के लिए इसे एक पिता का बयान तो कहा जा सकता है लेकिन जिस अंदाज में उन्होंने सिद्धू मूसेवाला की हत्या करने वालों को गोली से मारने की इल्तिज़ा की है वो वाकई हैरान और परेशान करती है। सिद्धू मूसेवाला के पिता ने कहा है कि गोली का बदला तो सिर्फ गोली होना चाहिए।
सिद्धू मूसेवाला के शूटर के साथ दो और पकड़े गए
Moosw Wala Murder: सिद्धू मूसेवाला के पिता बलकौर सिंह ने कहा है कि कत्ल की वारदात को साढ़े तीन महीने हो गए हैं और पुलिस हर रोज इस मामले में एक नया खुलासा लेकर सामने आ जाती है। यहां तक कि अभी तक सिद्धू मूसेवाले का शूटरों की गिरफ्तारी ही कर रही है।
हालही में सिद्धू मूसेवाला के मर्डर के सिलसिले में तीन और लोगों को पंजाब पुलिस और दिल्ली पुलिस के एक संयुक्त ऑपरेशन के बाद गिरफ्तार किया गया था जिसमें सिद्धू मूसेवाला पर गोली चलाने वाला दीपक मुंडी भी शामिल था। इन तीनों को पुलिस ने नेपाल बॉर्डर के पास सिलीगुड़ी से गिरफ्तार किया था।
बलकौर सिंह के मुताबिक असल में गिरफ्तारी कोई हल नहीं है। होना तो यही चाहिए कि गोली का बदला गोली से लिया जाना चाहिए । बलकौर सिंह ने सिद्धू मूसेवाला की हत्या के पीछे पंजाब के कुछ सिंगरों और राजनेताओं के हाथ होने का संगीन आरोप लगाया है।
केंद्रीय जांच एजेंसी के रडार पर आए गैंग्स्टर्स
Moose Wala Murder: उनका इल्जाम है कि कुछ गायक नहीं चाहते थे कि सिद्धू और अच्छा गाए और दुनिया में और ज़्यादा कामयाब हो जाए यानी वो लोग सिद्धू की तरक्की नहीं चाहते थे।
इसी बीच पंजाब पुलिस के डीजीपी गौरव यादव ने दावा किया है कि सिद्धू मूसेवाला को मारने वाले शूटर्स और आतंकी संगठनों के बीच कुछ गठजोड़ के तार जुड़ते दिखाई दे रहे हैं। और सबसे गौर करने वाली बात ये है कि इस गठजोड़ का फायदा कोई और नहीं बल्कि पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI उठाने की फिराक में है।