+

एसआईए ने जम्मू-कश्मीर के रियासी में आतंकवादी मॉड्यूल का भंडाफोड़ करने के लिए छापे मारे

विशेष जांच एजेंसी (एसआईए) ने जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में आतंकवाद को पुनर्जीवित करने के आतंकवादियों के प्रयासों की जानकारी मिलने के बाद जिले के ऊपरी इलाकों में छापे मारे।
featuredImage

NIA Raids in Jammu and Kashmir: विशेष जांच एजेंसी (एसआईए) ने जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले के ऊपरी इलाकों में छापे मारे। यहां आतंकियों के मददगारों के छिपे होने की सूचना थी। छापेमारी के दौरान कुछ इलेक्ट्रॉनिक उपकरण और कई दस्तावेज जब्त किए गए हैं।

पुलिस के एक अधिकार ने बताया कि जम्मू-कश्मीर पुलिस की आतंकवाद निरोधक शाखा एसआईए के जांचकर्ताओं ने पौनी और माहौर तहसील में छापेमारी इन खुफिया रिपोर्ट के आधार पर की कि ‘ओवरग्राउंड वर्कर’ (ओजीडब्ल्यू) राष्ट्र-विरोधी तत्वों को रसद सहायता एवं जानकारी मुहैया करा रहे हैं।

ओजीडब्ल्यू वे लोग होते हैं, जो आतंकवादियों को साजो-सामान उपलब्ध कराते हैं और गुप्त गतिविधियों के संचालन में उनकी मदद करते हैं।

रियासी में एक दशक से भी अधिक समय पहले आतंकवाद का खात्मा कर दिया गया था, लेकिन पिछले कुछ वक्त से ऊपरी इलाकों में आतंकवादियों की कथित गतिविधियां देखी जा रही हैं।

कुछ ओजीडब्ल्यू ऐसे हैं, जो सीमा पर ‘गाइड’ के रूप में काम कर रहे हैं, वे विभिन्न मोबाइल ऐप के जरिये पाकिस्तान स्थित अपने आकाओं के संपर्क में रहते हैं और आतंकवादियों को रसद संबंधी सहायता प्रदान कर रहे हैं।

एसआईए ने आतंकियों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया था। इसमें कहा था कि उसकी जांच से पता चला है कि मोहम्मद कासिम और जिया-उल-रहमान पहले पाकिस्तान में घुसे और वे हथियारों एवं विस्फोटकों की आपूर्ति के लिए ड्रोन का उपयोग कर रहे थे। इन हथियारों एवं विस्फोटकों को तालिब और उसके सहयोगियों ने प्राप्त किया।

जांच से यह भी पता चला कि तालिब ने अपने पाकिस्तान स्थित आकाओं के निर्देश पर जम्मू क्षेत्र के चिनाब घाटी और पीर पंजाल इलाकों में आतंकवाद को पुनर्जीवित करने के लिए कई स्थानीय युवाओं की भर्ती की थी।

इनपुट - पीटीआई

शेयर करें
Whatsapp share
facebook twitter