
MP Avinash Reddy News : तेलंगाना उच्च न्यायालय ने बुधवार को एक पूर्व मंत्री की हत्या के मामले में सत्तारूढ़ वाईएसआर कांग्रेस के सांसद वाईएस अविनाश रेड्डी को अग्रिम जमानत दे दी। अदालत ने अविनाश रेड्डी को उनके चाचा वाई एस विवेकानंद रेड्डी की हत्या के मामले में जमानत देते हुए यह भी निर्देश दिया कि वह जांच पूरी होने तक सीबीआई की पूर्व अनुमति के बिना देश नहीं छोड़ें, अभियोजन के पक्ष के गवाहों को प्रभावित करने तथा सबूतों से छेड़छाड़ करने का प्रयास न करें।
न्यायमूर्ति एम. लक्ष्मण ने अपने आदेश में कहा, “याचिकाकर्ता जांच में सहयोग करेगा और जून, 2023 के अंत तक प्रत्येक शनिवार को सुबह 10 बजे से शाम पांच बजे तक सीबीआई पुलिस के सामने पेश होगा और जांच के लिए आवश्यक होने पर नियमित रूप से पेश होगा।” उच्च न्यायालय के आदेश में कहा गया है कि याचिकाकर्ता को पांच लाख रुपये के निजी मुचलके और इतनी ही राशि की दो जमानत पर रिहा किया जाए।

YSRC MP Avinash Reddy Bail : मार्च 2019 में विवेकानंद रेड्डी की हत्या के बाद आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी के चचेरे भाई अविनाश रेड्डी सीबीआई जांच के घेरे में हैं। वाई एस विवेकानंद रेड्डी याचिकाकर्ता के चाचा थे। आंध्र प्रदेश के दिवंगत मुख्यमंत्री वाई एस राजशेखर रेड्डी के भाइयों में से एक विवेकानंद रेड्डी की राज्य में विधानसभा चुनाव से कुछ हफ्ते पहले 15 मार्च, 2019 की रात को कडप्पा जिले के पुलिवेंदुला स्थित उनके आवास पर हत्या कर दी गई थी। राज्य में कुछ ही हफ्तों में विधानसभा चुनाव होने थे।
अविनाश रेड्डी के पिता वाई एस भास्कर रेड्डी को 16 अप्रैल को सीबीआई ने विवेकानंद रेड्डी की हत्या के संबंध में गिरफ्तार किया था। इसके बाद अविनाश रेड्डी ने अग्रिम जमानत के लिए तेलंगाना उच्च न्यायालय में अपील की थी। उनकी ओर से उनके वकील ने दलील दी कि आज की तारीख तक अविनाश रेड्डी को कथित षड्यंत्र के सिलसिले में आरोपी के तौर पर नहीं दिखाया गया है। उन्होंने यह भी कहा कि सीबीआई याचिकाकर्ता से जनवरी 2023 से अप्रैल 2023 के दौरान सात बार पूछताछ कर चुकी है लेकिन एक बार भी एजेंसी ने यह शिकायत नहीं की कि याचिकाकर्ता सहयोग नहीं कर रहा है।
रेड्डी के वकील ने यह भी कहा कि याचिकाकर्ता के राजनीतिक करियर को तबाह करने के उद्देश्य से उन्हें साजिशन इस मामले में फंसाया गया है। सीबीआई ने अग्रिम जमानत का विरोध करते हुए कहा कि अविनाश रेड्डी के बयान में विसंगतियां पाई गई हैं और नोटिस दिए जाने के बावजूद वह 16 मई, 19 मई तथा 22 मई को पेश नहीं हुए थे। इससे पहले, 27 मई को आंध्र प्रदेश में कडपा से लोकसभा सांसद अविनाश रेड्डी को अस्थायी राहत देते हुए तेलंगाना उच्च न्यायालय ने केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) को आदेश दिया था कि उनकी याचिका पर अंतिम आदेश पारित होने तक पूर्व मंत्री वाईएस विवेकानंद रेड्डी की हत्या के सिलसिले में वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के नेता को गिरफ्तार ना किया जाए।
अविनाश को सीबीआई ने 22 मई को यहां पेश होने के लिए समन भेजा था। उन्होंने केंद्रीय एजेंसी को पत्र लिखकर अपनी मां के खराब स्वास्थ्य का हवाला देते हुए पेश होने के लिए समय मांगा था। इस मामले की जांच शुरू में राज्य अपराध जांच विभाग (सीआईडी) के विशेष जांच दल ने की और जुलाई 2020 में यह जांच सीबीआई ने अपने हाथों में ले ली। केंद्रीय जांच एजेंसी ने 26 अक्टूबर 2021 को एक आरोप पत्र दाखिल किया और फिर 31 जनवरी 2022 को एक पूरक आरोप पत्र दाखिल किया।